Fundamental (Basic Knowledge)
What IS Computer Fullform (कंप्यूटर का फुल फॉर्म क्या होता है)
C- Calculate- Calculate का मतलब होता है की गाड़ना करना |
O- Operate- operate का मतलब होता है की किसी भी चीज को ऑपरेट करने वाला या चलाने वाला|
M-Memory- कंप्यूटर की जो मेमोरी होती है वो अपना डाटा हमेशा स्टोर करके रखती है और इन्सान की मेमोरी कुछ यद् की हुई बात कुछ समय बाद भूल जाती है तो ये होती है मेंमोरी|
P-Print - प्रिंट का मतलब होता है की किसी भी चीज को छापन| जिसे प्रिंटर कहते है|
U-Unit- यूनिट का मतलब होता है की इकाई |
T-Time- कंप्यूटर हम अगर हम कोई बड़ा Calculation करते है तो वो हमारा रिजल्ट बहुत ही जल्दी show कर देता है जिससे की हमारे time की बचत होती है|
E-Education- एजुकेशन का मतलब होता है शिक्षा जैसे की आज के समय में शिक्षा के साथ साथ कंप्यूटर का भी बहुत महत्व है इसीलिए हमे कंप्यूटर का ज्ञान होना बहुत जरुरी है|
R- Research- रिसर्च का मतलब होता है की खोज बीन करना किसी भी चीज जो|
कंप्यूटर Fundamental
Computer english के Comput word से बना हुआ है इसको संगडक भी कहा जाता है ये ज्यदातर Docuement Creat,Email,Lisning,Audio Or Video Program And Database Creative के लिए हुआ |
कंप्यूटर पर वो कार्य करता है वह यूजर कहलाता है| और उसमे दिए गये निर्देश पर ही वह work करता है क्युकी यह एक इलेक्ट्रॉनिक मशीन है|
(Advantage Of Computer)
पहली पीढ़ी की अवधि 1937-1953 तक मानी जाती है। दो महान साइंटिस्ट द्वारा दुनिया का पहला और सबसे बड़ा ENIAC (Electronic Numerical Integrator and Computer) कंप्यूटर का निर्माण किया गया था। यह एक Fully Electronic Digital Computer था। Generation of Computer की शुरुआत यहीं से हुई थी।
लेकिन इस पीढ़ी के कम्पूटरो में मेमोरी के लिए Vacuum tube का इस्तमाल किया जाता था।
Vacuum Tube के कारण यह कंप्यूटर आकर में बड़े, सिमित मेमोरी वाले और अधिक बिजली का खर्च करते थे। इन कम्पूटरो में बड़ी मात्रा में गर्मी उत्पन्न होती थी।
पहली पीढ़ी के कंप्यूटर की विशेषताएँ
- Vacuum tube द्वारा निर्मित
- मशीनी भाषा का प्रयोग
- अधिक महंगा
- आकार में बहुत बड़ा
- अधिक वजिनी और धीमी गति
- AC की आवश्यकता
- अधिक मात्रा में बिजली का उपयोग
- इनपुट और आउटपुट के लिए पंच कार्ड और चुम्बकीये टेप का प्रयोग
पहली पीढ़ी के कम्प्यूटरो के नाम
- ENIAC
- EDVAC
- EDSAC
- UNIVAC
- MARK-1
Second Generation of Computer – कंप्यूटर की दूसरी पीढ़ी
दूसरी पीढ़ी की अवधि 1954-1962 तक मानी जाती है। इस पीढ़ी में Vacuum tube को रिप्लेस करके transistor का प्रयोग किया गया। Transistor का विकास Willom Shockly ने 1947 में किया था।
इस पीढ़ी के कम्पूटरो में चुम्बकीये कोर का उपयोग प्राइमरी मेमोरी और चुम्बकीये टेप और चुम्बकीये डिस्क का उपयोग सेकेंडरी मेमोरी के लिए किया गया था।
कंप्यूटर की दूसरी पीढ़ी में दो प्रकार के ऑपरेटिंग सिस्टम का उपयोग किया जाता था। पहला Batch processing और दूसरा Multi programming ऑपरेटिंग सिस्टम।
दूसरी पीढ़ी के कंप्यूटर की विशेषताएँ
- Transistor द्वारा निर्मित
- पहली पीढ़ी की तुलना में ज्यादा विश्वसनीय थे
- इसमें Assembly और High level language जैसे Fortran , Cobol का उपयोग किया जाता था
- पहली पीढ़ी की तुलना में आकार में छोटा
- इनमें कम गर्मी उत्पन्न होती थी
- पहली पीढ़ी की तुलना में कम बिजली खर्च होती थी
- पहले के कम्प्यूटरो से तेज
- AC की आवश्यकता
दूसरी पीढ़ी के कम्प्यूटरो के नाम
- IBM 1620
- IBM 7094
- CDC 1604
- CDC 3600
- UNIVAC 1108
Third Generation of Computer – कंप्यूटर की तीसरी पीढ़ी
तीसरी पीढ़ी की अवधि 1963-1972 तक मानी जाती थी। इस पीढ़ी में Transistor को रिप्लेस करके IC यानि Integrated Circuit का इस्तमाल किया गया था। इसमें transistor को छोटा करके Silicon chip पर रखा गया
जिसके कारण कंप्यूटर की गति और दक्षता में काफी वृद्धि हुई। Integrated Circuit का अविष्कार Jack Kilby ने किया था। इस पीढ़ी के कम्पूटरो में रिमोट प्रोसेसिंग, टाइम शेयरिंग और मल्टीप्रोग्रम्मिंग ऑपरेटिंग सिस्टम का उपयोग किया गया था।
तीसरी पीढ़ी के कंप्यूटर की विशेषताएँ
- Integrated Circuit का उपयोग
- पहली और दूसरी पीढ़ी की तुलना में ज्यादा विश्वसनीय
- आकार में छोटा और तेज लेकिन रखरखाव में अभी भी कठिन
- अन्य पीढ़ी की तुलना में कम ऊर्चा की खपत
- AC की आवश्यकता
- Mouse और Keyboard का उपयोग
- High level language जैसे-FORTRAN-I to IV, COBOL, PASCAL, BASIC, ALGOL का उपयोग
तीसरी पीढ़ी के कम्प्यूटरो के नाम
- IBM-360 Series
- Honeywell – 6000 series
- PDP (Personal Data Processor)
- IBM-370/168
- TDC-316
Fourth Generation of Computer – कंप्यूटर की चौथी पीढ़ी
चौथी पीढ़ी की अवधि 1972-1984 तक मानी गई है। इस पीढ़ी के कम्पूटरो में VLSI (Very Large Scale Integrated) circuit का उपयोग किया गया। इस VLSI circuit के एक Silicon chip पर लगभग 5000 transistor और अन्य circuit तत्व होते है। जिसे Micro Processor कहा जाता है।
पहला Micro Processor 1971 में Intel द्वारा पहली बार पेश किया गया था। जिसका अविष्कार उनके employee ने किया था। उन्होंने इसे Intel 4004 का नाम दिया था।
जबकि 1981 में IBM ने Micro Computer का विकास किया, जिसे Personal Computer (PC) कहा जाता है, और एप्पल ने 1989 में Macintosh (Personal Computer) पेश किया था।
यह कंप्यूटर जीवन के हर क्षेत्र में बहुत तेजी से उपयोग किये जाने लगे थे।
क्योंकि यह अन्य पीढ़ी के कम्पूटरो की तुलना में सस्ते, तेज और ज्यादा विश्वसनीय थे।
चौथी पीढ़ी के कम्प्यूटरो में internet, GUI (Graphical User Interface) और operating system (जैसे-MS Dos, MS Window और Apple OS) का विकास हुआ था।
चौथी पीढ़ी के कंप्यूटर की विशेषताएँ
- Very Large Scale Integrated Circuit का उपयोग
- कम खर्च और अधिक तेज
- आकार में छोटे और कम वाजनीये
- विधुत का बहुत कम प्रयोग
- AC की जरुरत नहीं
- रखरखाव सरल
- Operate करना एवं चलना सरल
- High level language जैसे– C, C++, DBASE का उपयोग
चौथी पीढ़ी के कम्प्यूटरो के नाम
- Dec 10
- Star 1000
- PDP 11
- CRAY-1
- CRAY-X-MP (Super Computer)
- PCs
Fifth Generation of computer – कंप्यूटर की पांचवी पीढ़ी
पांचवी पीढ़ी की अवधि 1984-1990 तक मानी गई है। इस पीढ़ी में वर्तमान के कम्प्यूटरो को और भविष्य में आने वाले कम्प्यूटरो को शामिल किया गया है।
इस पीढ़ी के कंप्यूटर अधिक शक्तिशाली, तेज, उच्च तकनीक और ज्यादा मेमोरी वाले कंप्यूटर है।
इसमें ULSI (Ultra Large Scale Integrated) सर्किट का इस्तमाल किया गया, इस ULSI Microprocessor में लगभग एक करोड़ components आ सकते है।
यह पीढ़ी मुख्य रूप से समानांतर प्रसंस्करण (Parallel processing) Hardware कृत्रिम बुद्धिमत्ता (Artificial Intelligence) software से सम्बंधित है।
पांचवी पीढ़ी का लक्ष्य ऐसे उपकरणों को विकसित करना है। जो सामान्य भाषा में उपयोग किए जाने वाले लोगो को जवाब दे सकते है। इससे कम्प्यूटर इंसानों की तरह काम करते है। वे C , C++ , और Java जैसी High level language का उपयोग करते है।
पांचवी पीढ़ी के कंप्यूटर की विशेषताएँ
- ULSI टेक्नोलॉजी का उपयोग
- Artificial Intelligence का विकास
- Portable PC और Desktop PC का प्रयोग
- Internet, E-mail और WWW (World Wide Web) का विकास हुआ
- उपभोक्ता – अनुकूल (User friendly) interface और का विकास हुआ
- मल्टीमीडिया फीचर्स जैसे-ध्वनि , ग्राफिक्स, चित्र और टेक्स्ट आदि का निर्माण हुआ
- C, C++, Java, .net और ASP जैसी हाई लेवल भाषा का प्रयोग
- अधिक तेज, विश्वसनीय और सस्ते
पांचवी पीढ़ी के कम्प्यूटरो के नाम
- Desktop
- Laptop
- Notebook
- Ultra book
- Chrome book
Classification Of Computer-
Primary Memory कंप्यूटर की Main Memory होती है, जो आमतौर पर उस प्रकार के Data अथवा Program को Store करती है, जिसे वर्तमान समय में Processing Unit (CPU) द्वारा प्रोसेस किया जा रहा होता है। Primary Memory मुख्य रूप से तीन प्रकार की होती है जिसमें RAM, ROM और Cache Memory शामिल है। इनकी स्टोरेज क्षमता बहुत कम होती है लेकिन ये सेकेंडरी स्टोरेज (HDD और SDD) की तुलना में डेटा तक बहुत तेजी से पहुंच प्रदान करती है।
ये Volatile और Non-volatile दोनों तरह की होती है। जहां वोलेटाइल का मतलब उन मेमोरी डिवाइस से है जो सिर्फ कंप्यूटर के चालू रहने तक डेटा को स्टोर करती है, जबकि नॉन-वोलेटाइल वो होती है जो लंबे समय तक डेटा को स्टोर कर सकती है। चूंकि यह Main Circuit Board में CPU के बहुत करीब स्थित होती है इसलिये Primary Memory में मौजूद Data को CPU बहुत तेजी से Read करता है।
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